अखिल भारतीय प्रधान संघठन के बैनर तले हो रहे प्रदेश स्तरीय धरना में सभी प्रधान होंगे शामिल

भदोही । अखिल भारतीय प्रधान संघ संघटन के सभी प्रधान ने भारत सरकार व प्रदेश सरकार हम प्रधानो के हक अधिकारो पर वर्षो से कब्जा जमाये रखा है! वर्षो पूर्व तत्कालीन प्रधानमंत्री पी0 बी0 नरसिंघा राव ने अपने कैविनेट में एक प्रस्ताव पास किया था कि भारत के प्रत्येक गाँवो को स्वतंत्र रूप से कार्य करने की आजादी दे दी जाय और ग्रामसभाएं अब स्वतंत्र रूप से कार्य करेगी और उसी कैबिनेट ने एक और प्रस्ताव पास किया था कि प्रत्येक सांसद व विधायक का वेतन उसके सचिव यानि लोकसभा और विधानसभा में तैनात सचिव से एक रुपया अधिक वेतन मिलना चाहिये और जैसे ही लोकसभा में यह प्रस्ताव पास हुवा सभी मा0सांसदो के बेतन और भत्ते बढ़ा दिये गए और मा0सांसदो के तौर पर मा0 विधायको के भी बेतन और भत्ते प्रदेश सरकारो ने बढ़ा कर सदन में सभी एक दूसरे के विरोधी पार्टियो ने गले मिल कर एक दूसरे सदस्यों का स्वागत किया लेकिन अफसोस की बात यह है कि हम प्रधानो के न तो अधिकार आज तक बहाल किये गए और न ही हम प्रधानो को सम्मान जनक बेतन व भत्ता मिलता है ग्रामसभा में विकास के नाम पर आये हुये पैसे में से चन्द रुपया 3500 सौ मानदेय के नाम पर देकर हम प्रधानो के मुँह पर ताला लगाने का कार्य प्रदेश सरकार कर रही है ग्रामसभा में विकास के नाम पर जो धनराशी भेजी जाती है उसी धनराशी में से 3500 सौ रुपया प्रतिमाह मानदेय व स्टेशनरी व आडिट खर्च ब्लाको पर दिये जाते है आज तक कोई भी सरकार हम प्रधानो की तरफ सहानुभूति पूर्वक बिचार नही किया है उसका सबसे बड़ा कारण यह रहा है कि हम प्रधान किसी न किसी पार्टी का झंडा ढोने का कार्य करते रहे है हम प्रधान साथी कभी यह नही सोचते है कि जब हम प्रधान रहते है तो 24 घण्टे अपने ग्रामसभा के लोगो की सेवा में खड़े रहते है और प्रधान पद से हटने के बाद अपने ही घर में खाना बदोस की जिन्दगी बसर करने लगते है क्योकि जब प्रधान रहते है तो रात दिन सरकार द्वारा भेजे गये योजनाओ का लाभ पात्र ब्यक्ति को मिले इसका प्रयास करते है और अपने करीबी उस लाभ से वंचित रह जाते है उस लाभ में प्रधान का परिवार नही वंचित हो जाता है ऊपर से राजनैतिक विरोधी झूठी शिकायत करके प्रधानो को परेसान करने का कार्य करते है 5 साल बीत जाता है प्रधान अपने ही परिवार व शुभचिंतको की नजर में गिर जाता है सभी शुभचिंतक व परिवार यह शिकायत करते रहते है कि आप के प्रधानीकाल में मुझे कोई लाभ नही मिला ऊपर से प्रधान पद से हटने के बाद बीबी बच्चे और परिवार के अन्य सदस्य यह शिकायत करते रहते है कि अब आप के परिवार का या आप का भरण पोषण कैसे होगा और जिस पार्टी का हम झंडा बैनर ढोते हुये अपना जीवन समर्पित करते है वही पार्टी की जब सरकार बनती है तो वह हम प्रधानो को चोर घोषित करने का भरपूर प्रयास करती है प्रधानसाथियो अपनी ताकत को पहचानो और आप चाहे जिस भी पार्टी की राजनीती करते हो चाहे जिस भी पार्टी का झंडा गले में बाँध कर चलते हो बस आप लोगो के दिल दिमाक में यह बात हमेसा बनी रहे की जब भी प्रधानो के हित हक अधिकारो की बात होगी हम प्रधानसाथी अपने पार्टी से अलग हट कर प्रधानसाथियो के साथ हर धरना प्रदर्शन में बढ़ चढ़ कर हिस्सा लेगे! उत्तर प्रदेश के सभी प्रधानसाथियो से सादर अनुरोध है की अपने हक अधिकारो को पाने के लिये दिनांक 24 सितम्बर 2018 दिन शोमवार को सुबह 10 बजे इको गार्डेन लखनऊ में अखिल भारतीय प्रधान संघठन के बैनर तले हो रहे प्रदेश स्तरीय धरना में सामिल होकर अपनी एकता का शंदेश देश व प्रदेश की सरकार को देने के लिए अवश्य पहुँचे अगर अब नही जगे तो फिर कभी कोई जगाने नही आ सकता है!


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