मोहनियां नगर पंचायत में खुले में किया जाता है कचरा डम्प लगा दी जाती है आग

जिला संवाददाता संदिप कुमार की रिपोर्ट 


मोहनियां (कैमूर) एक ओर सरकार प्रदूषण बचाव को लेकर किसान जैसे बिना सुविधा वाले के उपर पुआल जलाने पर उन्हें हर सरकारी सुविधा से वंचित करने के साथ-साथ जेल जाने का भी प्रावधान कर लिया गया है, परंतु वहीं इस आदेश की धज्जियां उड़ानें वाले कचरा प्रबंधन में लगे लोगों को कचरा जलाने की खुली छूट दे दी गई है, जिससे प्रदूषण का खतरा सीधा बढ गया है। ऐसा ही नजारा मोहनियां नगर पंचायत क्षेत्र के स्टुरगंज वार्ड नं०-07 स्थित जामा मस्जिद के पीछे सरेआम कचरा में आग लगाकर पर्यावरण को प्रदूषित करते देखा गया। नगर पंचायत के सफाई कर्मी ही खुले में कचरा गिराते हैं और आग लगा देते हैं वहां कचरा से धुआं उठती रहती है। इस तरह का दृश्य प्रखंड के कई क्षेत्रों देखे जा सकता हैं। जहां कचरा डंप किया जाता है वह मोहनियां शहर का घना आबादी वाला क्षेत्र है। नगर पंचायत के साथ ही लोग भी लापरवाही कर रहे हैं। जो खुले में प्लास्टिक जैसे खतरनाक कचरा को खुले में फेंक रहे हैं। जबकि खुले में कचरा जलाने से पर्यावरण को हो रहे नुकसान के चलते एनजीटी ने देशभर में खुले में कचरा जलाने पर प्रतिबंध लागू किया हुआ है। साथ ही ₹25000 तक जुर्माना का प्रावधान है प्रतिबंध लागू होने के बाद भी नगर पंचायत के सफाई कर्मियों को किसी का भय नहीं है जहां पर भी कचरे के ढेर लगे होते हैं उनको वहीं पर जला दिया जाता है। कहीं पर यह काम स्थानीय निवासी करते हैं, तो कई जगह पर नगर पंचायत के सफाई कर्मचारी खुद ही कचरे में आग लगा देते हैं। 

कचरा जलाने से पर्यावरण व स्वास्थ को हानि खुले में जलाए जाने वाले कचरे में प्लास्टिक, पॉलीथिन के अलावा कई प्रकार की हानिकारक चीजें जलती हैं, जिससे उठने वाले विषैले धुएं में कार्बन डाइऑक्साइड, कार्बन मोनो ऑक्साइड, नाइट्रोजन मोनो ऑक्साइड जैसी हानिकारक गैसें व रसायन निकल कर पर्यावरण में घुल कर उसे काफी नुकसान पहुंचाते हैं। इसके अलावा यह धुआं मानव स्वास्थ्य के लिए भी काफी घातक होता है। इस विषैले धुएं का प्रभाव न केवल फेफड़ों पर बल्कि मस्तिष्क पर भी पड़ता है। ऐसा अक्सर देखा जाता है कि लोहे के डिब्बे, कागज, प्लास्टिक, कांच के टुकड़े, बचा हुआ भोजन, जानवरों की हड्डियां, सब्जियों के छिलके आदि जैसी अकार्बनिक सामग्री को खुले में फेंक दिया जाता है।जब खुले में कचरा जलाया जाता है तो इससे वायु प्रदूषण भी फैलता है जिसके परिणामस्वरूप स्वास्थ्य और पर्यावरण के लिए गंभीर खतरा पैदा होता है। इनमें मोहनियां नगर पंचायत मुक दर्शक बना हुआ है।

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