भिवंडी लोकसभा सीट से चुनाव लड़ने पर अड़ी कांग्रेस - महेंद्र घरत

भिवंडी।। भिवंडी लोकसभा निर्वाचन सीट को लेकर आज भिवंडी के वाटिका होटल में कोंकण कांग्रेस की एक महत्वपूर्ण बैठक हुई जिसमें कोंकण प्रांत के तमाम जिले, तालुका के पदाधिकारियों ने भिवंडी लोकसभा सीट पर चुनाव लड़ने के लिए तय किया है। वही पर पदाधिकारियों ने उम्मीद की है की पार्टी के वरिष्ठ पदाधिकारियों से जरूर न्याय मिलेगा। इस बैठक में रायगढ़ जिले के कांग्रेस पार्टी जिला अध्यक्ष महेन्द्र घरत ने कहा कि कांग्रेस भिवंडी लोकसभा सीट पर चुनाव लड़ने पर अड़ी है और पार्टी हमारी स्थिति पर विचार करेगी और हमें न्याय देगी। पूरे कोंकण प्रांत के पदाधिकारी आज भिवंडी में एकजुट हुए है। हम शुरू से ही कोंकण में दो सीटों की मांग कर रहे थे। हमने वरिष्ठों को संदेश भी दिया है हम भिवंडी की सीट नहीं छोड़ेंगे। किन्तु कोंकण में राकांपा ने विश्वासघात किया है। वरिष्ठों को इसको सुलझाना चाहिए। महेंद्र घरात ने चेतावनी दी है कि अगर इस पर कोई फैसला नहीं लिया गया तो हम काम नहीं करेंगे। दिल्ली में पार्टी के वरिष्ठ पदाधिकारियों को राकांपा प्रमुख शरद पवार को समझना चाहिए। कांग्रेस को कार्यकर्ता चाहिए तो कांग्रेस पार्टी के वरिष्ठों को भिवंडी में पंजा निशानी वाले उम्मीदवार देना होगा। महेंद्र घरत ने यह भी कहा कि सभी पदाधिकारी दयानंद चोरघे की उम्मीदवारी दाखिल करने के लिए प्रतिबद्ध है। साथ ही चेतावनी दी कि अगर भिवंडी सीट पर कांग्रेस नहीं लड़ती है तो इसका असर कांग्रेस कार्यकर्ताओं पर पड़ेगा और वे इस्तीफा दे देंगे।

ठाणे जिला ग्रामीण अध्यक्ष दयानन्द चोरघे ने कहा कि सभी पदाधिकारियों को वरिष्ठों से न्याय मिलना चाहिए। इसीलिए भिवंडी के मुद्दे पर नाना पटोले ने बैठक छोड़कर चले गये थे। हम आज आशावादी हैं और कांग्रेस पार्टी के श्रेष्ठ हमें न्याय देगें। संजय राऊत ने कहा था कि भिवंडी लोकसभा सीट को राकांपा जीत सकती है।‌ इस पटलवार करते हुए दयानंद चोरगे ने कहा कि संजय राऊत को भिवंडी के बारे में जानकारी नहीं है। जिले के 70 प्रतिशत राष्ट्रवादी कांग्रेस के कार्यकर्ता 2014 में कपिल पाटिल के समर्थन में भाजपा में चली गई थी। जिसमें से 50 प्रतिशत लोग अजित पवार गट में चले गये। लोकसभा सीट पर केवल 20 हजार मतदाता राकांपा के शेष है। जिसमें में गुटबाजी है। यह सीट कांग्रेस पार्टी की परंपरागत सीट है। जिस पर केवल पंजा निशान ही भाजपा को मात दे सकता है। पिछले चुनावों में हमारी हार का बदला लेना है। 

इस अवसर पर  भिवंडी प्रभारी सुभाष कानडे, पूर्व सांसद सुरेश टावरे, ठाणे ग्रामीण जिला अध्यक्ष दयानंद चोरघे, पूर्व विधायक खलीफा, प्रदेश पदाधिकारी मनोज शिंदे, तारिक फारुखी , प्रदीप पप्पू राका, रानी अग्रवाल, मनीष गणोरे, पूर्व उपमहापौर रमाकांत म्हात्रे सहित विभिन्न तालुका के अध्यक्ष व पदाधिकारी उपस्थित थे।

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