वाराणसी में पूर्व छात्रसंघ अध्यक्ष समेत तीन को मिली जमानत बचाव पक्ष के अधिवक्ता अनुज यादव की रही दलील

वाराणसी जिला जज सुशील पाठक की अदालत ने संपूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय के केंद्रीय कार्यालय में तोड़फोड़ मारपीट व चीफ प्रॉक्टर को धमकी देने के अलग-अलग मामलों में आरोपी पूर्व छात्रसंघ अध्यक्ष जितेंद्र दिवेदी रोहित मिश्रा व शैलेश कुमार दुबे की जमानत अर्जी मंजूर कर ली अदालत ने तीनों आरोपियों को 30 ₹30000 की दो जमानत एवं बंध पत्र देने पर रिहा करने का आदेश दिया अभियोजन के अनुसार संपूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय के चीफ प्रॉक्टर प्रोफेसर आशुतोष मिश्रा ने बीते 10 जनवरी को चेतगंज थाने में प्राथमिकी दर्ज कराई थी उनका आरोप था कि 10 जनवरी को राज्यपाल के परिसर से जाने के बाद संघ के अध्यक्ष जितेंद्र दिवेदी अपने दो साथियों हित मिश्रा व शैलेश दुबे के साथ मिलकर परिसर में स्थित सरस्वती भवन पुस्तकालय के गेट में जबरन घुस रहे थे मना करने पर उन लोगों ने उसे गालियां देते हुए जान से मारने की धमकी दी इसी तरह दूसरा मामला 11 जनवरी का है जिसमें आरोप था कि शासन के पूर्व अध्यक्ष जितेंद्र दिवेदी रोहित मिश्रा व शैलेश दुबे छात्रों के साथ मिलकर 11 जनवरी को केंद्रीय कार्यालय को बंद करा कर धरना प्रदर्शन करने लगे साथ ही कार्यालय के कार्य को बाधित करते हुए अराजकता का माहौल कॉलेज परिसर में बना दिया है जब कुलपति मौके पर पहुंचे तो उनसे भी दूर व्यवहार करते हुए जान से मारने की धमकी देते हुए उन्हें मारने के लिए झपटी हालांकि मौके पर मौजूद अध्यापक व पुलिसकर्मियों ने बीच बचाव करते हुए उसे रोका अदालत में बचाव पक्ष की ओर से बनारस बार एसोसिएशन के पूर्व उपाध्यक्ष अनुज यादव वरिष्ठ अधिवक्ता विपिन शर्मा की ओर से दलील दी गई कि संघ के पूर्व अध्यक्ष जितेंद्र दिवेदी विश्वविद्यालय में व्याप्त नेता के खिलाफ आवाज उठा रहे थे इसलिए उन्हें फंसाया गया है अदालत ने दोनों पक्षों की दलील सुनने के बाद आरोपियों की जमानत मंजूर कर ली

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