प्रदुषण कंट्रोल बोर्ड कल्याण विभाग के संरक्षण में चलती भिवडी शहर की कपड़ा डाईग कंपनियां ।


कानून का मजाक उडा रहा है कोहिनूर डांईग का मालक ।


भिवंडी मनपा प्रभाग क्रं चार के क्षेत्र में म्यु.पल घर नं ५४५ गौरीपाडा स्थित कोहिनूर डांईग अँण्ड प्रिटीग लिं कम्पनी के मालक‌ अशोक अमृतलाल दोडिया द्वारा कानून को ताक पर रखकर कपडा डाईग चलाने का मामला प्रकाश में आया है इस डाईग को‌ बंद करने के लिए कई स्थानिक रहिवासियों तथा शहर के जागृत नागरिकों द्वारा भिवंडी मनपा आयुक्त ,पर्यावरण विभाग व महाराष्ट्र प्रदूषण कंट्रोल बोर्ड कल्याण विभाग को दर्जनों बार लिखित में शिकायत करने के बाद डांईग के मालक मातवाली चाल से कानून को ताक पर रख कर अपना डांईग कंपनी चला रहा है  बतादें कि महाराष्ट्र प्रदुषण कायदा नुसार कपडा डाईग व साईजिग कंपनियां व कारखाना ,ईट भटटी के चिमनियों की उँचाई 30 मीटर होना चाहिए जिसके ब्यालर से निकालने वाला धुंआ आसमन में विलिन हो सके । परन्तु कोहिनूर डाईग के मालक द्वारा गत पाँच वर्ष पहले टुटी चिमनी जिसकी उँचाई मात्र २ मीटर है उसी के सहारे ब्यालर में चिंदी ,कतरन ,लकडा,रबर,कोयला जलाकर लाखों लोगों के जान के साथ  खिलवाड कर रहा है जिसकी बार बार शिकायत करने पर भी प्रदूषण कल्याण विभाग, भिवडी मनपा पर्यावरण विभाग व संबंधित अधिकारियों कि नीद नहीं खुल रही है ।


भिवंडी मनपा द्वारा संचालित पर्यावरण विभाग हफ्ता उगाही में मस्त 


भिवंडी मनपा प्रशासन द्वारा संचालित पर्यावरण विभाग व मासिक ठोक वेतन पर कार्यरत कर्मचारी केवल डांईग साईजिग कंपनियों ‌से हफ्ता की रकम वसूली करने में लगे रहते है पर्यावरण विभाग में शिकायत करने के बाद मासिक ठोक वेतन पर कार्यरत कर्मचारी संजय केणे व विभाग प्रमुख नितेश चौधरी केवल यह कहकर टाल देते है कि कारवाई करने का काम महाराष्ट्र प्रदूषण कंट्रोल बोर्ड कल्याण विभाग का है  आप की शिकायत को प्रदुषण कंट्रोल बोर्ड को‌ भेज दिया गया है । 


प्रदूषण कंट्रोल कल्याण विभाग  के सरंक्षण में चलता है गोरखधंधा ?


भिवंडी शहर में जहाँ सैकड़ों डाईग व साईजिग कंपनियां है वही पर अब उल्हासनगर शहर महानगर पालिका क्षेत्र से भगाऐ गये जींस कंपनियों ने भी‌ अपना तानाबाना के साथ अपना अड्डा बसाने में कामयाब हो गई है प्रदुषण मडल‌ कल्याण विभाग द्वारा इन अबैध रुप से चल रही कंपनियों पर अंकुश लगाने व कारवाई करने के नाम पर केवल रंगदारी वसूल किया जाता रहा है जिसके फलस्वरूप शिकायत करने के बाद इमानदार छवि से माने जाने वाले प्रदुषण कंट्रोल बोर्ड के प्रदेशिक अधिकारी जी एस हजारे को उनके विभाग के कर्मचारियों द्वारा गुमराह किया जाता रहा है । दिनांक ८/८/२०१८  को भिवडी शहर में अवैध रुप से चल रही कोहिनूर डांईग कंपनी की शिकायत करने के बाद भी प्रदुषण कंट्रोल बोर्ड के भष्ट् अधिकारी द्वारा आज तक कोई कारवाई नहीं किया गया ।

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