भिवंडी में हाईकोर्ट के आदेश पर बड़ी कार्रवाई

नागाव गणेश सोसायटी की अवैध इमारत गिराने का काम शुरू बिजली-पानी सप्लाई भी काटी गई

भिवंडी। भिवंडी के नागाव गणेश सोसायटी में आज प्रशासन ने माननीय उच्च न्यायालय के आदेश पर ताबड़तोड़ कार्रवाई कर इलाके में सनसनी फैला दी। मुकेशकुमार काशीभाई पटेल की मालिका हक्क के पांच मंजिला घर क्रमांक 1161 के चौथे और पांचवें मंजिल को अवैध घोषित कर बुलडोज़र चलाया गया। साथ ही, टोरेंट पावर और जलापूर्ति विभाग ने बिजली और पानी की आपूर्ति तुरंत प्रभाव से काट दी। इस घटना से पूरे इलाके में हड़कंप मच गया।

इस इमारत को लेकर उच्च न्यायालय ने पहले ही आदेश दिया था कि इस अवैध निर्माण को तुरंत हटाया जाए। पालिका आयुक्त अजय वैद्य के आदेशानुसार 2 दिसंबर 2024 को प्रभाग समिति क्रमांक दो के सहायक आयुक्त माणिक जाधव, बीट निरीक्षक रमाकांत म्हात्रे ने अपनी अतिक्रमण टीम और ठेकेदार के साथ मिलकर इस आदेश पर अमल शुरू किया। जैसे ही तोड़क कार्रवाई शुरू हुई, इलाके में अफरा-तफरी मच गई।

पालिका प्रशासन के अनुसार, इमारत के चौथे और पांचवें मंजिल का निर्माण बिना अनुमति के किया गया था। इसके चलते इसे गिराने का निर्णय लिया गया। आज सुबह जैसे ही बुलडोज़र इमारत पर चढ़ा, वहां मौजूद लोग सन्न रह गए। इमारत में रह रहे लोगों को भी समय रहते बाहर निकाल दिया गया। तोड़क कार्रवाई के साथ ही टोरेंट पावर ने इमारत की बिजली सप्लाई काट दी,जबकि जलापूर्ति विभाग ने पानी की आपूर्ति ठप कर दी। अधिकारियों ने साफ कहा कि जब तक यह निर्माण पूरी तरह से ध्वस्त नहीं हो जाता, तब तक बिजली-पानी की सप्लाई बहाल नहीं की जाएगी। इस कार्रवाई से सोसायटी और आसपास के लोग सकते में आ गए। कई निवासियों ने प्रशासन पर निशाना साधते हुए इसे 'अचानक कार्रवाई' बताया। कुछ लोगों ने विरोध भी किया, लेकिन प्रशासन ने हाईकोर्ट के आदेश का हवाला देकर किसी की नहीं सुनी। इलाके के कुछ लोगों ने नाम न बताने की शर्त पर कहा कि यह अवैध निर्माण सालों से खड़ा था, लेकिन प्रशासन ने तब कोई कार्रवाई नहीं की। "पालिका के अधिकारी और बिल्डर की मिलीभगत के बिना यह निर्माण संभव नहीं था। अब जब अदालत का दबाव आया, तो तोड़क कार्रवाई हो रही है,"  पालिका आयुक्त ने चेतावनी दी है कि यह कार्रवाई एक उदाहरण है। भविष्य में भिवंडी में किसी भी अवैध निर्माण को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। "अगर कोई भी व्यक्ति नियमों का उल्लंघन करेगा, तो इसी तरह की कार्रवाई झेलनी होगी,"। इस हाई-प्रोफाइल तोड़क कार्रवाई ने पूरे भिवंडी में हड़कंप मचा दिया है। बिल्डर लॉबी और अवैध निर्माणकर्ताओं में खलबली मच गई है। नागरिक अब प्रशासन की कार्रवाई को लेकर सवाल उठा रहे हैं कि आखिर इस अवैध निर्माण को बनने के समय क्यों नहीं रोका गया।

रिपोर्टर

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