धान क्रय केन्द्र नहीं खुला खेतों से धान कटाई अंतिम चरण में

चांद ।। चांद में नहीं खुला धान क्रय केन्द्र खेतों से धान कटाई अंतिम चरण में। चावल का मार्केट दर नीचे रहने से किसानों ने धान कटाई में  जानबूझकर बिलंब कर रहे थे। सरकार के उदासीन रवैया से किसानों के धान का मार्केट दर 1000 एवं 1100 प्रति किवंटल है। किसान लाचार हैरान है। कोरोना महामारी में देश की अर्थव्यवस्था को गति देने वाले किसानों के सामने आत्महत्या के आलावा कोई उपाय नहीं सुझ रहा। सरकार किसानों के समस्या से पुरी तरह अनदेखी कर रही है। किसान धान कटाई के बाद खलिहान में रखकर रात जग्गा कर रहा है। धान की ब्रिक्री नहीं होने से किसानों की रवी बुआई प्रभावित हो रहा है। किसान रवि प्रकाश सिंह राधे श्याम सिंह विजय कुमार आदि ने कहा कि जरूरत पडने पर किसानों को मजबूर न औने पौने दाम बेचना पड़ रहा है। शादी विवाह का समय होने से पैसे खर्च करने के लिए धान औने पौने दाम पर बेचना पड़ रहा है। किसानों को कोई सुनने वाला नहीं है। धीरे धीरे किसानों में गुस्सा बढ रहा है। सरकार ने धान क्रय केन्द्र खोलने में देरी की तो गंभीर परिणाम भुगतने पड़ सकते हैं।

रिपोर्टर

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