किसानो पर आफत की बारिश,कई जगह गिरे ओले

देवरिया/बघौचघाट। बुधवार को मेघ किसानों पर आफत बनकर बरसे। बालियां लिए खड़ी गेहूं की फसल धराशायी हो गई। इनमें फूल लगे थे, वो झड़ गए। आलू, सरसों, चना सभी फसलों पर बारिश की मार पड़ी है। बची-खुची कसर ओले ने पूरी कर दी। पथरदेवा, बघौचघाट, तरकुलवा, रामपुर के कई इलाकों में जमकर ओले बरसे। कुछ देर के लिए खेत खलिहान सब बर्फ से पट गए। बारिश बंद होते ही किसान खेतों की ओर भागने लगे। गाढ़ी कमाई पर कुदरत की मार देखकर हाथ सिर पर रख लिया।

रुद्र पुर के रामलक्षन,छपौली,शिवपुर आदि गांवों मे बारीस के साथ जबरदस्त ओले पड़ने के कारण तेलहन,दलहन की फसले काफी नुकसान हुआ हैं।

सबसे ज्यादा नुकसान बिहार के सीमावर्ती इलाकों में हुआ है। तेज हवा के साथ हुई बारिश व ओले गिरने से सैकड़ों एकड़ रबी फसल बर्बाद हो गई है। वहीं, टमाटर की खेती को भी काफी नुकसान पहुंचा है। बारिश और ओले पड़ने से मौसम में नमी के साथ ठंड बढ़ गई है। पथरदेवा के किसान हीरा कहना है कि ओला के चलते टमाटर की खेती में मेरा काफी नुकसान हुआ है। पहले गन्ने की खेती करता था। मिलें बंद हुईं तो धान-गेहूं व सब्जी की खेती शुरू की। इसमें भी मुनाफे से ज्यादा घाटा नजर आ रहा है। चोकट चौहान कहना है कि इस बार गेहूं की फसल अच्छी थी मगर बारिश ने सब सत्यानाश कर दिया। हर फसलों पर जैसे कुदरत की मार पड़ रही है, इससे लगता है कि अब कुछ नहीं होगा। रामायन साहनी ने बताया कि मौसम की बेरुखी ने अचानक हमारी फसल चौपट कर दी।

रिपोर्टर

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